योग आसन एक्सपर्ट गाइडेंस के साथ : योग से केवल शारीरिक ही नहीं, मानसिक स्वास्थ्य में भी होता है सुधार। लेकिन कुछ आसन बिना एक्सपर्ट के करना हो सकता है खतरनाक। आजकल योग को लेकर लोगों में जागरूकता तेजी से बढ़ रही है। शारीरिक लचीलापन बढ़ाने और मानसिक तनाव को कम करने के लिए कई लोग योग को अपने रूटीन में शामिल कर रहे हैं। कुछ लोग यूट्यूब या मोबाइल ऐप्स की मदद से घर बैठे योग सीखने लगते हैं, लेकिन यह तरीका हमेशा सुरक्षित नहीं होता—खासतौर पर तब, जब आप कठिन योग मुद्राओं की कोशिश कर रहे हों।
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योग विशेषज्ञों का मानना है कि कुछ विशेष योगासन जैसे शीर्षासन, सर्वांगासन, हलासन, पश्चिमोत्तानासन और नटराजासन बेहद सावधानी से करने चाहिए। ये योग मुद्राएं बिना प्रशिक्षित योग गुरु की निगरानी में करने पर शरीर को गंभीर चोट, मांसपेशियों में खिंचाव या रीढ़ की हड्डी को नुकसान पहुंचा सकती हैं।
अगर आप योग की शुरुआत कर रहे हैं या इन आसनों का अभ्यास पहली बार कर रहे हैं, तो इन्हें हमेशा किसी प्रमाणित योग ट्रेनर की देखरेख में ही करें। आगे जानिए कि इन कठिन आसनों को लेकर योग विशेषज्ञ क्या सलाह देते हैं और इन्हें कैसे सुरक्षित तरीके से किया जाना चाहिए।
योग आसन एक्सपर्ट गाइडेंस के साथ : क्या कहती हैं योग एक्सपर्ट?
भारत योग की अध्यक्ष और प्रसिद्ध योग विशेषज्ञ आचार्य प्रतिष्ठा जी बताती हैं कि योग का अभ्यास शुरू करने से पहले उसके कुछ जरूरी नियमों को समझना बेहद ज़रूरी होता है। जैसे हर विद्या के कुछ ‘Do’s and Don’ts’ होते हैं, वैसे ही योग के भी कुछ मूल सिद्धांत हैं। योग का पहला और सबसे महत्वपूर्ण नियम है कि इसका अभ्यास किसी अनुभवी योग गुरु या प्रशिक्षक के प्रत्यक्ष मार्गदर्शन में ही किया जाना चाहिए। हालांकि कुछ योग अभ्यास ऐसे होते हैं जो सभी के लिए सुरक्षित होते हैं और जिनका कोई साइड इफेक्ट नहीं होता—उन्हें कोई भी कर सकता है। लेकिन हर योग क्रिया इस श्रेणी में नहीं आती।
कठिन और जटिल योग आसनों को करते समय प्रशिक्षित गुरु की देखरेख बेहद ज़रूरी है, ताकि वे आपकी शारीरिक क्षमता और ज़रूरतों को ध्यान में रखते हुए आसनों को सही तरह से मोडिफाई कर सकें। इससे न केवल आप सुरक्षित रहेंगे, बल्कि योग का अधिकतम लाभ भी उठा सकेंगे।
बिना एक्सपर्ट के न करें ये योगासन
1. शीर्षासन

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शीर्षासन एक ऐसा योगासन है जिसमें शरीर को सिर के बल उल्टा खड़ा किया जाता है। यह आसन देखने में भले ही प्रभावशाली लगे, लेकिन इसे करना काफी चुनौतीपूर्ण होता है। अगर इसे गलत तकनीक से किया जाए, तो गर्दन की नसों पर अत्यधिक दबाव पड़ सकता है, जिससे चक्कर आना, सिरदर्द होना या गिरने की स्थिति में गर्दन और रीढ़ की हड्डी में गंभीर चोट लगने का खतरा बढ़ जाता है।
2. सर्वांगासन

बिना ट्रेनर के किया सर्वांगासन बन सकता है खतरनाक! जानें क्यों जरूरी है एक्सपर्ट की देखरेख
इस आसन में पूरे शरीर का संतुलन कंधों पर टिकता है और पैरों को सीधा ऊपर उठाया जाता है। यह थायरॉयड ग्रंथि को सक्रिय करने वाला प्रभावशाली आसन माना जाता है, लेकिन यदि इसे बिना विशेषज्ञ की निगरानी में किया जाए, तो यह गर्दन और पीठ पर अत्यधिक दबाव डाल सकता है। इसके परिणामस्वरूप सांस लेने में कठिनाई, गला घुटने जैसा अनुभव और संतुलन खोने जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
3. हलासन

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हलासन में शरीर को मोड़ते हुए पैरों को सिर के पीछे ज़मीन तक ले जाया जाता है। यह आसन पेट, पीठ और रीढ़ की सेहत के लिए लाभकारी माना जाता है, लेकिन यदि इसे उचित लचीलापन और सही तकनीक के बिना किया जाए, तो यह रीढ़ पर अत्यधिक दबाव डाल सकता है। इससे पीठ दर्द, गर्दन में खिंचाव और सांस लेने में तकलीफ जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं।
4. पश्चिमोत्तानासन

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यह एक फॉरवर्ड बेंडिंग आसन है, जिसमें शरीर को पैरों की दिशा में मोड़ते हुए माथे को घुटनों से छूने का प्रयास किया जाता है। यदि शरीर में लचीलापन कम हो, तो यह मुद्रा कमर, हैमस्ट्रिंग और रीढ़ पर अत्यधिक दबाव डाल सकती है। परिणामस्वरूप पीठ दर्द, मांसपेशियों में खिंचाव और सांस लेने में परेशानी जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
5. नटराजासन

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नटराजासन में शरीर का संतुलन बनाए रखना बेहद आवश्यक होता है, क्योंकि इस आसन में एक पैर पर खड़े होकर दूसरे पैर को पीछे की ओर पकड़ते हुए शरीर को आगे की ओर झुकाया जाता है। यह आसन लचीलापन, संतुलन और सौंदर्य को बढ़ाने में सहायक होता है, लेकिन बिना पर्याप्त अभ्यास के करने पर संतुलन बिगड़ने का खतरा रहता है। इससे घुटनों में मोच, पीठ में खिंचाव और गिरने जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
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अगर आप घर पर योग करने की योजना बना रहे हैं, तो इन जटिल योगासनों से तब तक बचें जब तक आपके पास किसी योग्य योग प्रशिक्षक की निगरानी न हो। सही मार्गदर्शन के बिना इन्हें करने से गंभीर चोट का जोखिम बना रहता है।